फर्जी गन लाइसेंस मामले को लेकर एक बड़ा अपडेट सामने आया है। दरअसल, CBI ने इस मामले में आरोपी वरिष्ठ IAS अधिकारी राजीव रंजन के खिलाफ आय से अधिक संपत्ति अर्जित करने और भ्रष्टाचार करने का मामला दर्ज कर लिया है। मालूम हो कि बीते दिन (19 फरवरी) को CBI ने IAS राजीव रंजन के 7 ठिकानों पर छापेमारी की थी, जिसमें उनके गुरुग्राम, दिल्ली और श्रीनगर के घर शामिल रहे। इस दौरान CBI ने श्रीनगर सचिवालय में स्थित उनके कार्यालय की भी जांच की।
2.74 लाख बंदूकों के लाइसेंस का मामला
बता दें कि राजीव रंजन जम्मू-कश्मीर के फेमस फर्जी गन घोटाला मामले में मुख्य आरोपी हैं। आरोप है कि IAS अधिकारी राजीव रंजन ने नियमों को ताक पर रखकर गलत तरीके से लोगों को बंदूक का लाइसेंस जारी किया है। यह मामला जम्मू-कश्मीर में साल 2012 से लेकर 2016 तक 2.74 लाख बंदूकों के लाइसेंस जारी करने से जुड़ा है। इस पूरे मामले में बड़े पैमाने पर पैसों की उगाही की गई थी।
पहले ही हो चुके हैं गिरफ्तार
मालूम हो कि IAS अधिकारी राजीव रंजन मूल रूप से बिहार के रहने वाले हैं। वह 2010 बैच के AGMUT कैडर के IAS अधिकारी हैं। LBSNAA से ट्रेनिंग पूरी होने के बाद उनकी पहली पोस्टिंग रेवेन्यू डिपार्टमेंट में डिप्टी सेक्रेटरी के पद पर हुई थी। केंद्र सरकार ने उनके खिलाफ केस दर्ज करने का आदेश जारी किया था। इसके बाद सरकार की तरफ से उनके खिलाफ मुकदमा चलाने का आदेश दिया गया था। CBI ने फर्जी गन लाइसेंस घोटाला मामले में उन्हें पहले ही गिरफ्तार भी कर चुकी है।