महाराष्ट्र सरकार का बड़ा फैसला, 1.25 लाख मजदूरों को भेजेगी उनके गांव
नई दिल्ली. कोरोना वायरस संक्रमण (Coronavirus) के प्रसार को रोकने के लिए देश में लगाए गए लॉकडाउन (Lockdown) के कारण महाराष्ट्र (Maharashtra) में सैकड़ों मजदूर (Migrant Labours) फंसे हुए हैं. शुक्रवार को महाराष्ट्र सरकार ने उनको राहत देते हुए बड़ा फैसला लिया है. राज्य सरकार के अनुसार राज्य में फंसे 1.25 लाख चीनी मिल मजदूरों को उनके गांव जाने की इजाजत दी जाएगी.
शुक्रवार को यह जानकारी महाराष्ट्र के कैबिनेट मंत्री जयंत पाटील ने ट्विटर पर दी. शुक्रवार को यह जानकारी महाराष्ट्र के कैबिनेट मंत्री जयंत पाटील ने ट्विटर पर दी
उन्होंने ट्विटर अकांउट पर पत्र जारी करते हुए लिखा, ‘महाराष्ट्र सरकार राज्य में बिना वेतन के रह रहे प्रवासी मजदूरों को कुछ शर्तों के साथ उनके गृह जिले में भेजने संबंधी निर्णय लिया है.
इसकी मांग काफी दिनों से उठ रही थी. राज्य में चीनी मिल में काम करने वाले कुल मजदूरों की संख्या 1.25 लाख है.’
प्राप्त जानकारी के मुताबिक ये सभी 1.25 लाख मजूदर महाराष्ट्र के ही बीड और अहमदनगर जिलों के रहने वाले हैं. वह राज्य के अलग-अलग हिस्सों में चीनी मिल में काम कर रहे थे. ये सभी मजदूर गन्ना सीजन में पश्चिमी महाराष्ट्र में 6 महीनों के लिए चीनी मिल में काम करने जाते हैं.
महाराष्ट्र सरकार ने मजदूरों के परिवार संबंधी परेशानियों और उनकी नाराजगी को देखते हुए उन्हें घर भेजने का फैसला लिया है. कहा जा रहा है कि सरकार इन्हें घर भेजने से पहले उनकी पूरी मेडिकल और कोविड 29 जांच कराएगी. सब ठीक रहने पर ही उन्हें घर भेजा जाएगा. बता दें कि पिछले दिनों मुंबई के बांद्रा स्टेशन पर घर भेजे जाने की अफवाह के चलते सैकड़ों मजदूर एकत्र हुए थे. उन पर पुलिस ने लाठी भी बरसाई थी.